छत्तीसगढ़ : भाजपा के इस विधायक मिला लाल बत्ती का तोहफा? ये हो सकते हैं मंत्रिमंडल में शामिल
छत्तीसगढ़। हाल ही में संपन्न विधानसभा चुनाव में कांग्रेस शासनकाल में गृह मंत्री रहे ताम्रध्वज साहू को हराने वाले दुर्ग ग्रामीण से विधायक ललित चंद्राकर को आखिरकार प्राधिकरण का उपाध्यक्ष बना दिया गया है। इसके बाद विष्णुदेव साय की कैबिनेट में दुर्ग से मंत्री बनाए जाने की संभावना बढ़ गई है।
ज्ञात हो कि राज्य में भाजपा की सरकार बनने के बाद मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के मंत्रिमंडल में दुर्ग जिले से किसी भी विधायक को शामिल नहीं किया गया था। इस दौड़ में जीत दर्ज करने वाले भाजपा के चार विधायक शामिल थे। जिसमें क्रमश: गजेंद्र यादव, ललित चंद्राकर, राकेश सेन और ईश्वर साहू शामिल थे। जबकि कांग्रेस के शासनकाल में तत्कालीन सरकार के मंत्रिमंडल में मुख्यमंत्री से लेकर तीन मंत्री तक शामिल थे। स्थिति को देखते हुए यह माना जा रहा था कि भाजपा के शासनकाल में भी दुर्ग जिले को मंत्रिमंडल में उचित स्थान मिलेगा। लेकिन मंत्रिपरिषद गठन के दौरान दुर्ग से किसी भी विधायक को मंत्री नहीं बनाया गया था। जिसके बाद इसकी आलोचना हुई थी। और संभावना भी जताई जा रही थी कि भविष्य में मंत्रिमंडल के विस्तार की प्रक्रिया में इस जिले को उचित स्थान मिलेगा। लेकिन आज तक मंत्रिमंडल का विस्तार नहीं हो सका। जिससे राजनीतिक गलियारों में चल रहे कयासों के बाजार पर विराम लग गया था। फिर इस दौर में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने दुर्ग ग्रामीण विधायक ललित चंद्राकर को राज्य ग्रामीण एवं अन्य पिछड़ा वर्ग क्षेत्र विकास प्राधिकरण का उपाध्यक्ष बनाया था।
मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने के लिए ललित चंद्राकर और गजेंद्र यादव का नाम प्रमुखता से लिया जा रहा था। क्योंकि भाजपा विधायक ललित चंद्राकर ने कांग्रेस शासनकाल में गृहमंत्री रहे ताम्रध्वज साहू को हराया था, जबकि दूसरे विधायक गजेंद्र यादव ने तत्कालीन युवा आयोग के अध्यक्ष और दुर्ग शहर विधानसभा क्षेत्र के लंबे समय से विधायक रहे अरुण वोरा को भारी अंतर से हराया था। इसके बाद दुर्ग जिले की राजनीति में वोरा परिवार का दबदबा इस विधानसभा क्षेत्र से खत्म हो गया था। क्योंकि दुर्ग शहर विधानसभा क्षेत्र में वोरा परिवार का लंबे समय से दबदबा रहा है। इसलिए भाजपा के दोनों विधायकों को मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की संभावना प्रबल हो गई थी।
लेकिन उस समय वो संभावनाएं टूट गई थी। और इस जिले से किसी भी विधायक को मंत्री नहीं बनाया गया था। जिसकी कड़ी आलोचना भी हुई थी।अब एक विधायक ललित चंद्राकर को लाल बत्ती का तोहफा मिल गया है। तो दूसरे विधायक गजेंद्र यादव को आने वाले दिनों में होने वाले मंत्रिमंडल विस्तार में शामिल किए जाने की पूरी संभावना है।दुर्ग शहर विधायक गजेंद्र यादव ने पार्षद से विधायक तक का सफर तय किया है और उनके पिता बिसरा राम यादव आरएसएस में प्रमुख पद पर रह चुके हैं। ऐसे में उन्हें विष्णु देसाई के मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है।